
गुजरात की दो महिला चिकित्सकों की राष्ट्रव्यापी यात्रा को मिली छत्तीसगढ़ से नई ऊर्जा, 12 राज्यों में फैला रही हैं टाइप-1 डायबिटीज़ की जागरूकता
किशोरों में टाइप-1 मधुमेह को लेकर जागरूकता फैलाने के उद्देश्य से निकली दो महिला चिकित्सकों की विशेष जनजागरूकता यात्रा छत्तीसगढ़ पहुंची। इस पहल को राज्यपाल श्री रमेन डेका ने सराहा और राजभवन परिसर से यात्रा को आगे रवाना कर सामाजिक दायित्व की मिसाल पेश की।
रायपुर। राज्यपाल रमेन डेका ने आज राजभवन परिसर से एक अनोखे जनजागरूकता अभियान को रवाना किया, जिसका मकसद किशोरों में टाइप-1 मधुमेह को लेकर सजगता बढ़ाना है। इस अभियान की कमान संभाली है गुजरात की दो समर्पित महिला चिकित्सकों—डॉ. स्मिता जोशी और डॉ. शुक्लाबेन रावल ने, जो स्वयं वाहन चलाकर देशभर में लोगों को इस रोग के प्रति सचेत कर रही हैं।
राज्यपाल डेका ने इस अभिनव प्रयास की सराहना करते हुए दोनों डॉक्टरों को अपने शुभकामनाएं दीं और कहा कि ऐसी पहलकदमी समाज को स्वास्थ्य के प्रति गंभीर सोच की ओर प्रेरित करती हैं।
डॉ. स्मिता जोशी और डॉ. शुक्लाबेन रावल ने जानकारी दी कि वे 2018 से टाइप-1 डायबिटीज़ से पीड़ित बच्चों के लिए कार्य कर रही हैं। उनका लक्ष्य है कि देश के हर जिले में एक समर्पित टाइप-1 डायबिटीज़ क्लिनिक की स्थापना हो, जिससे बच्चों को नियमित इलाज और परामर्श मिल सके।
यह यात्रा 20 अप्रैल 2025 को गुजरात से आरंभ हुई थी, और अब तक राजस्थान, दिल्ली, हरियाणा, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र होते हुए छत्तीसगढ़ पहुंच चुकी है। अभियान का उद्देश्य 12 राज्यों में स्वास्थ्य जागरूकता फैलाना है।
राजभवन में हुई भेंट के दौरान दोनों चिकित्सकों ने राज्यपाल को अपने अभियान की व्यापक रूपरेखा से अवगत कराया और बताया कि वे आगे भी स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ करने हेतु प्रयासरत रहेंगी।